राजस्थान

मदीना मस्जिद सुमेरपुर में एक अहम बैठक: फिजूलखर्ची और गैर-शरई रस्मों पर सख्त रोक

सुमेरपुर/राजस्थान (प्रेस रिलीज)

मदीना मस्जिद, सुमेरपुर में गत दिनों( 29 नवंबर 2024 ईस्वी शुक्रवार) को नमाज़-ए-ईशा के बाद एक महत्वपूर्ण बैठक आयोजित की गई। इस बैठक की सदारत हज़रत मौलाना अ़लीमुद्दीन साहब क़ादरी अशफाक़ी ने की। इसमें सुमेरपुर और आसपास की विभिन्न मस्जिदों ( जैसे सुमेरपुर, ऊंदरी मस्जिद, जाखा नगर, हाउसिंग बोर्ड, हुसैनी कॉलोनी, संजय नगर, शिवगंज छावनी, संतोषी नगर, छोटी मस्जिद शिवगंज, बलवना, जवाई बांध, सांडेराव और बाकली के मस्जिदों) के इमाम, गांवों के सदर, सचिव, और अन्य प्रमुख लोग उपस्थित रहे।

बैठक का मुख्य उद्देश्य:

इस बैठक का उद्देश्य समाज में फिजूलखर्ची, गैर-शरई रस्मों और समय की बर्बादी पर रोक लगाना था। इसमें निम्नलिखित महत्वपूर्ण फैसले सर्वसम्मति से लिए गए:

  1. गैर-शरई रस्मों पर रोक:

सगाई, राती जोगा, पाट, बंदौली, बारात रवानगी और निकाह जैसी रस्मों में गाने-बजाने, डीजे, और नाच-गाने और हर प्रकार की ग़ैर श्री रीति रिवाज पर पूरी तरह पाबंदी लगाई जाएगी।

इन मौकों पर केवल दीनी रिवायतों व प्रोग्रामों जैसे नात शरीफ, तक़रीर और कुरान की तिलावत आदि की अनुमति होगी।

  1. मिलादुन्नबी के जुलूस में सुधार:

ईद-ए-मिलादुन्नबी के जुलूस में सिर्फ एक माइक का उपयोग होगा, जिस पर नात शरीफ पढ़ी जाएगी।

डीजे बजाने और अन्य गैर-शरई गतिविधियों की अनुमति नहीं होगी।

  1. खिलाफत पर सख्त कदम:

जो लोग इन फैसलों का उल्लंघन करेंगे, उनके निकाह, जनाजे और अन्य धार्मिक कार्यों में स्थानीय या बाहरी मौलाना शामिल नहीं होंगे।

निकाह रजिस्टर ऐसे व्यक्तियों को उपलब्ध नहीं कराया जाएगा। गांव के सदर और सचिव इस निर्णय को सख्ती से लागू करेंगे।

बैठक का संकल्प:

बैठक के अंत में सभी उपस्थित इमामों, सदरों और सचिवों ने इन फैसलों को पूरी सख्ती के साथ लागू करने का संकल्प लिया। कौम के सभी लोगों से अपील की गई कि वे इन फैसलों का पालन करें और समाज में सुधार लाने में सहयोग दें।

प्रमुख उ़ल्मा-ए-किराम की भागीदारी:

इस बैठक में निम्नलिखित उ़ल्मा-ए-किराम ने अपनी उपस्थिति से इसे गरिमा प्रदान की और अपने मूल्यवान सुझाव दिए:

हज़रत मौलाना अल्हाज अ़ब्दुल ग़फूर साहब, मौलाना शफी मुहम्मद साहब मौलाना अब्दुल करीम साहब, मौलाना मुहम्मद नदीम साहब, मौलाना मुहम्मद इरफान साहब, मौलाना मुहम्मद अशरफ रज़ा साहब, क़ारी ज़ाकिर साहब, मौलाना क़ाएमुद्दीन साहब, मौलाना मुजस्सम साहब,मौलाना खमीसा साहब, मौलाना मुनज़्ज़म साहब, मौलाना शाकिर साहब रिज़्वी आदि..
उक्त जानकारी दारुल उ़लूम अनवारे मुस्तफा सेहलाऊ शरीफ के नाज़िमे तालीमात तालीमात हज़रत मौलाना मुहम्मद शमीम अहमद साहब नूरी मिस्बाही ने प्रेस रिलीज़ के माध्यम से दिया।

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