बाराबंकी

या हुसैन या हुसैन की सदाओ में निकाला दसवी मोहर्रम को ताज़िया का जुलूस, कर्बला की शहादत को याद कर नम हुईं आखें

  • दसवीं मोहर्रम को बड़े अकीदत व शान ओ सौकत के साथ निकाला गया ताजिया का जुलूस
  • विभिन्न मार्गों से होता हुआ ईदगाह स्थित कर्बला पहुँचकर ताजियों को दफन कर जुलूस समाप्त हुआ
  • सुरक्षा में तैनात रही पुलिस

अहमदनगर/बाराबंकी (अबुशहमा अंसारी)। थाना जैदपुर अंतर्गत अहमदपुर मे मोहर्रम बड़े ही अकीदत के साथ मनाये जाते हैं , हजरत इमाम हुसैन (रजी.) की शहादत की याद दिलाने वाले मोहर्रम पर गमगीन माहौल में ताजिए दफन किए गए। इस मौके पर लोगों ने शर्बत पर फातिहा की और कुरान मजीद पढ़कर ईसाले सवाब भी किया।अहमदपुर के आस पास उधौली ,देवकली ,पारा , राजा कटरा , किठूरी , पूरे बुधईशा आदि गांवों में ताजिए रखकर अकीदतमंदों ने हजरत इमाम हुसैन के नाम पर मजलिसों का आयोजन किया ,नौ मोहर्रम की रात से ही ताजिए चौक पर रखे गए थे। कस्बा अहमदपुर में नवी मुहर्रम की रात अकीदतमंदों ने अपने अपने मोहल्लों की चौक व घरों के सामने ताजिए रखे। सुबह तक हजरत इमाम हुसैन की याद में मजलिसों का सिलसिला जारी रहा।दसवीं मुहर्रम का जुलूस बड़ी अकीदत व एहतराम के साथ निकाला गया गया, ताज़िये का जुलूस निकालकर अपने हुसैनी होने का सुबूत पेश किया, आपको बताते चले कि भितरी,चौहटा उत्तर आदि मुहल्लो की ताजिया इकट्ठा हो कर जुलूस निकाला जाता है , दस मोहर्रम को हज़रत इमाम हुसैन अलैहिस्सलाम और उनके बहत्तर साथियों की कर्बला में हुई शहादत को याद किया जाता है, और उसी याद में हर साल दस मोहर्रम को नाराएक तकबीर अल्लाहु अकबर , या हुसैन, या हुसैन की सदाओं में अलम व ताजिया का जुलूस अक़ीदतमन्दो द्वारा निकाला जाता है जुलूस के दौरान लोग इमाम ए हुसैन के नाम से जगह, जगह सबील शर्बत , पानी , पुलाव का इंतेजाम कर लोगों में बांटा गया , मोहर्रम कर्बला की शहीदी का ऐसा यादगार महीना है जिसके आते ही सारे का सारा माहौल गमगीन हो जाता है और मुस्लिम समाज के लोग गम में डूब जाते है, करबला के शहीदों को याद करते हैं ,मोहर्रम की नोवी तारीख को पूरी रात हुसैन और शहीदों के नाम की महफिले भी सजाते हैं। मानना है कि करबला की जंग हक की जंग थी जिसमें प्यारे नबी हुजूर-ए-अकरम मोहम्मद सल्लाहु अलैही वस्सलम के नवासे हजरत इमाम हुसैन , हसन ने अपने बहत्तर साथियों के साथ मरदूद यजीद की फौज से जंग लड़कर शहीदी का दर्जा हासिल कर हक की फताह हुई, जुलूस अपने परंपरागत रास्तों से होता हुआ रात्रि कर्बला पहुंचा, जहां लोगों ने नम आंखों से ताजियों को दफन कर जुलूस समाप्त हुआ सुरक्षा की मद्दे नजर अहमदपुर चौकी प्रभारी संतोष कुमार कुमार राय , कॉन्स्टेबल विपिन कुमार , भूपेंद्र सिंह , महिला कॉन्स्टेबल शुभप्रभात प्रीयदर्शनी पांड्य , पूजा भारती सहित भारी पुलिस बल तेनात रहा।

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